कलेक्टर ने दिया आदेश स्कूल प्रबंधक एवं प्राचार्य स्कूल बसों एवं स्कूल वाहनों में लगवायें CCTV कैमरे एवं जीपीएस ट्रेकर
स्कूल वाहनों का सेफ्टी ऑडिट कर सात दिन के भीतर दें रिपोर्ट वाहन चालक, कंडक्टर और अटेंडेंट का करायें पुलिस व्हेरीफिकेशन
जबलपुर |स्कूल बसों अथवा स्कूली वाहनों में बच्चों के साथ बढ़ती घटनाओं के मद्देनजर कलेक्टर डॉ. इलैयाराजा टी. ने जिले में स्थित सभी अशासकीय स्कूलों तथा सीबीएसई एवं आईसीएससी स्कूलों के प्रबंधक, प्राचार्य एवं प्रधानाध्यापकों को आदेश जारी कर स्कूल बसों एवं बच्चों के आवागमन के अन्य सभी साधनों में सीसीटीव्ही कैमरे तथा जीपीएस ट्रैकर लगाने के निर्देश दिये हैं। इसके साथ ही उन्होंने स्कूलों में बच्चों के आवागमन के लिये लगाई गई सभी बसों, वेन एवं ऑटो का सात दिन के भीतर सेफ्टी आडिट कर प्रतिवेदन जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय को प्रस्तुत करने कहा है।
कलेक्टर ने स्कूल प्रबन्धकों, प्राचार्य एवं प्रधानाध्यापकों को जारी आदेश में स्कूल बसों एवं अन्य आवागमन के अन्य सभी साधनों में सीसीटीव्ही कैमरे एवं जीपीएस ट्रैकर लगाने के साथ-साथ ये हमेशा चालू हालत में रहे यह सुनिश्चित करने की हिदायत भी दी है। आदेश में कहा गया है कि स्कूल आवागमन के सभी वाहनों में दो दरवाजे हों। वाहनों के परमिट, बीमा, पीयूसी आदि के सर्टिफिकेट पूरे हों। स्कूल बसों एवं अन्य सभी साधनों का रंग पीला हो तथा इनमें स्कूल का नाम और दूरभाष नम्बर सहित चाइल्ड हेल्प लाइन का नम्बर अनिवार्य रूप से अंकित हो।
कलेक्टर डॉ इलैयाराजा टी ने आदेश में स्कूल बसों, वेन, मैजिक, ऑटो एवं टेम्पो में स्पीड गवर्नर लगाना भी सुनिश्चित करने कहा है। उन्होंने कहा कि इन वाहनों में फिटनेस सर्टिफिकेट, फर्स्ट एड किट एवं फायर एस्टिंगयुसर अनिवार्य रूप से हो इसे स्कूल प्रबंधकों, प्राचार्यों एवं प्रधानाध्यापकों को सुनिश्चित करना होगा। इसके साथ ही स्कूली बच्चों के आवागमन में प्रयुक्त इन वाहनों का संचालन अवैध रूप से लगी गैस किट से न हो और इनमें क्षमता से अधिक बच्चे न बैठे यह देखने की जिम्मेदारी भी स्कूल प्रबंधकों, प्राचार्यों और प्राधानध्यापकों की होगी।
आदेश में कहा गया है कि स्कूल प्रबंधकों एवं प्राचार्यों से कहा गया है कि स्कूलों के सामने जेब्रा क्रासिंग, स्पीड ब्रेकर एवं साइन बोर्ड आदि लगाये जायें तथा ट्रैफिक व्यवस्थाओं एवं नियमों का पालन कराया जाये। स्कूल वाहनों में तेज आवाज में संगीत न बजाया जाये, ड्राइवर धूम्रपान करते हुये और शराब का सेवन कर वाहन न चलाये यह भी स्कूल प्रबंधकों, प्राचार्यों एवं प्रधानाध्यापकों को सुनिश्चित करना होगा।
कलेक्टर ने आदेश में स्कूल प्रबंधन से जुड़े सभी कर्मचारियों तथा स्कूल वाहनों के ड्राइवर, कंडक्टर सहित पूरे स्टाफ का सत्यापन कराना एवं उनके रिकार्ड का संधारण करना तथा प्रत्येक वर्ष उनके दस्तावेजों का पुनः सत्यापन सुनिश्चित करने के निर्देश भी दिये हैं। आदेश में स्पष्ट किया गया है कि स्कूल प्रबंधक, प्राचार्य अथवा प्रधानाध्यापक सभी प्रकार के स्कूल वाहनों के ड्राइवर, कंडक्टर या अटेंडेंट का पुलिस व्हेरीफिकेशन कराने के लिये और उनका रिकार्ड संधारित करने के जिम्मेदार होंगे।
आदेश में सभी स्कूली वाहनों में अटेंडेंट की मौजूदगी सुनिश्चित करने के निर्देश भी स्कूल प्रबन्धको, प्राचार्यो एवं प्राधानाध्यापकों को दिये गये हैं। स्कूल प्रबन्धको से कहा गया है कि स्कूली वाहनों में अटेंडेंट की नियुक्ति में महिलाओं को प्राथमिकता दी जाये। आदेश में उन अभिभावकों से स्व-घोषणा पत्र भरवाने स्कूल प्रबंधकों एवं शाला प्रबंधकों से कहा गया है, जो स्वयं के वाहनों से बच्चों को स्कूल अथवा कोचिंग छोड़ते हैं।
कलेक्टर डॉ इलैयाराजा टी ने आदेश में स्कूलों में सभी छात्राओं को प्रार्थना के बाद एवं स्कूल छूटने के 10 मिनट पहले गुड़ एवं बेड टच के बारे में जानकारी देने के निर्देश भी दिये गये हैं। आदेश में साफ किया गया है कि स्कूल प्रबन्धको एवं प्राचार्यों द्वारा स्कूल वाहनों का सेफ्टी आडिट कर प्रतिवेदन प्रस्तुत किये जाने के बाद जिला प्रशासन द्वारा टीम गठित कर छात्र-छात्राओं के आवागमन में प्रयुक्त बसों, वेन, ऑटो आदि वाहनों की जांच की जायेगी।