जयपुर: यह सुनने में अजीब लग सकता है लेकिन यह सच है कि राजस्थान के हनुमानगढ़ जिले में पानी की चोरी रोकने के लिए एक विशेष थाना बनाया जा रहा है. क्षेत्र में चल रही इंदिरा गांधी नहर से बहने वाले सिंचाई के पानी की चोरी को रोकने के लिए राजस्थान सरकार इस अनोखे थाने को खोलेगी. इंदिरा गांधी नहर भारत की सबसे लंबी नहर है जो बाड़मेर, बीकानेर, चुरू, हनुमानगढ़, जैसलमेर, जोधपुर और श्रीगंगानगर सहित राजस्थान के सात जिलों से होकर गुजरती है. लगभग 650 किमी लंबी, यह पंजाब में हरिके बैराज से शुरू होती है और राजस्थान में थार रेगिस्तान में सिंचाई सुविधाओं में समाप्त होती है.
इस क्षेत्र में अक्सर दर्ज होने वाली पानी की चोरी के मामलों पर तत्काल कार्रवाई करने के लिए 60 पुलिसकर्मियों की एक टीम प्रतिनियुक्ति की जाएगी. नोहर के विधायक अमित चचन ने कहा कि पानी की चोरी की जांच के लिए आने वाले नए पुलिस स्टेशन का नेतृत्व एक सीआई करेगा और इसमें 5 सब इंस्पेक्टर, 8 हेड कांस्टेबल और 40 कांस्टेबल का स्टाफ होगा. उन्होंने कहा कि उनके खेतों को छोड़कर अन्य किसानों को नुकसान उठाना पड़ता है.
अधिकारियों ने पुष्टि की कि यह पहली बार है कि किसी राज्य में पानी की चोरी को रोकने के लिए एक पुलिस स्टेशन शुरू किया गया है. हाल ही में राज्य में 12 नये पुलिस थाने स्वीकृत किये गये हैं और यह अनोखा थाना उनमें से एक है.
पिछले चार साल में अकेले हनुमानगढ़ जिले में पानी चोरी के 74 मामले दर्ज हुए हैं. इनमें से 28 को भिरानी थाने में दर्ज कराया गया है. एडिशनल एसपी (हनुमानगढ़) जसराम बोस का कहना है कि नोहर और भद्रा विधानसभा क्षेत्रों में चोरी की घटनाएं ज्यादा हैं, क्योंकि वहां चकबंदी नहीं है. उन्होंने कहा कि हरियाणा के कुछ लोग पानी चुराते हैं जिससे यहां के ऊंचे इलाकों में पानी का संकट पैदा हो जाता है. पानी चोरी करते पकड़े गए लोगों पर आईपीसी की धारा 397 के तहत मामला दर्ज किया गया है.
अधिकारियों ने पुष्टि की कि यह पहली बार है कि किसी राज्य में पानी की चोरी को रोकने के लिए एक पुलिस स्टेशन शुरू किया गया है. हाल ही में राज्य में 12 नये पुलिस थाने स्वीकृत किये गये हैं और यह अनोखा थाना उनमें से एक है. पिछले चार साल में अकेले हनुमानगढ़ जिले में पानी चोरी के 74 मामले दर्ज हुए हैं. इनमें से 28 को भिरानी थाने में दर्ज कराया गया है. श्रीगंगानगर और हनुमानगढ़ जिलों से भी पानी चोरी के मामले सामने आए हैं. ऐसे में भविष्य में ऐसे पुलिस थानों की संख्या और बढ़ेगी क्योंकि नहर विभाग भी चाहता है कि नहर से एक निश्चित दूरी पर पुलिस तैनात हो.