श्रीनगर। जम्मू-कश्मीर से आर्टिकल 370 हटने के बाद वहां की जमीनी हकीकत का आंकलन करने के लिए यूरोपीय संघ का विदेशी प्रतिनिधिमंडल बुधवार को श्रीनगर पहुंचा। इससे पहले तीन बार विदेशी राजनयिक यहां के हालात जानने के लिए दौरा कर चुके हैं। इस डेलिगेशन को यूरोपीय यूनियन के भारत में राजदूत उगो एस्टुटो लीड कर रहे हैं। फ्रांस के राजदूत इमैनुएल लिनेन और ऑर्गनाइजेशन ऑफ इस्लामिक कोऑपरेशन के मेंबर भी टीम का हिस्सा हैं। यह दौरा गृह मंत्रालय के बुलावे पर किया जा रहा है। 2 दिन के इस दौरे में विदेशी राजनयिकों को अधिकारी केंद्र शासित प्रदेश में हो रहे विकास और डिस्ट्रिक्ट डेवलपमेंट काउंसिल यानि डीडीसी चुनाव की जानकारी देंगे। जानकारी के मुताबिक, गुरुवार को ये दल जम्मू के दौरे पर रहेगा।
इन देशों के डिप्लोमैट्स शामिल
आपको बता दें कि इस प्रतिनिधिमंडल में यूरोप और अफ्रीकी देशों के चिली, ब्राजील, क्यूबा, बोलीविया, एस्टोनिया, फिनलैंड, फ्रांस, आयरलैंड, नीदरलैंड, पुर्तगाल, यूरोपीय संघ, बेल्जियम, स्पेन, स्वीडन, इटली, बांग्लादेश, मलावी, इरीट्रिया, इवोइर, घाना, सेनेगल, मलेशिया, ताजिकिस्तान और किर्गिस्तान के प्रतिनिधि शामिल हैं। ये विदेशी राजनयिक डीडीसी के नए चुने गए मेंबर्स, सोशल और पॉलिटिकल एक्टिविस्ट, मीडिया और सिविल एडमिनिस्ट्रेशन के अधिकारियों और सेना के जवानों से मुलाकात करेंगे। सेना और सुरक्षा एजेंसियों के अधिकारी उन्हें सुरक्षा के हालात के बारे में जानकारी देंगे। डेलिगेशन के मेंबर्स जम्मू-कश्मीर के एलजी मनोज सिन्हा से भी मुलाकात करेंगे।
370 हटाने के बाद से चौथा डेलिगेशन
जम्मू-कश्मीर से आर्टिकल 370 हटने के बाद चौथी बार ऐसा हो रहा है, जब कोई विदेशी डेलिगेशन कश्मीर के दौरे पर है। इससे पहले अक्टूबर 2019, जनवरी और फरवरी 2020 में भी डेलिगेशन ने जम्मू-कश्मीर विजिट की थी। आपको बता दें जम्मू-कश्मीर से 5 अगस्त 2019 को आर्टिकल 370 को हटाया गया था।